वाराणसी:प्रो. मैगी वेन्टजे़ल, शिकागो के निर्देशन मे अमेरिका गणराज्य के मेडिकल छात्रों के एक डेलिगेशन ने राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय एवं चिकित्सालय का भ्रमण किया ।
इन छात्रों के समूह मे मनोविज्ञान, फिजियोथेरेपी, नर्सिंग के छात्र सम्मिलित थे। प्राचार्य प्रो. शशि सिंह के निर्देशन मे डा. मनीष मिश्र और डा. अरविंद सिंह, द्वारा इन छात्रों को पंचकर्म , स्वस्थ वृत्त, बालरोग , शल्यचिकित्सा एवं स्त्री-प्रसूति जैसी आयुर्वेदिक विधाओं तथा सामान्य आयुर्वेदिक औषधियों के विषय मे जानकारी दी गई तथा चिकित्सालय का भ्रमण भी कराया गया।
सभी छात्र आयुर्वेद विधा विशेष कर पंचकर्म क्रियाओं जैसे नाडी.स्वेद , जानुवस्ति कटिवस्ति से सर्वाईकल- लम्बर स्पानडाईलोसिस, आस्टियोआर्थराइटिस और एंकाईलोजिंग स्पानडाईलोसिस जैसे जटिल रोगों मे सफल चिकित्सा से प्रभावित दिखे । इसके अतिरिक्त अमेरिकी छात्रो ने बताया कि उनके यहां अनिद्रा के रोगी भी अधिक संख्या मे होते हैं इस रोग कीचिकित्सा मे ज्यादातर निद्राजनक औषधियों का ही सेवन करना होता है, यहां आयुर्वेद मे पंचकर्म की विशिष्ट विधा शिरोधारा द्वारा अनिद्रा की चिकित्सा देखकर प्रभावित हूए।
डा. रुचि सिंह ने स्वर्णप्राशन द्वारा बच्चों मे रोगप्रतिरोधक क्षमता विकसित करने की आयुर्वेदिक विधा के विषय मे बताया गया । उन्हे आयुर्वेद की औषधियों कोरोना काल मे दिये गये आयुष क्वाथ और च्यवनप्राश औषधि के विषय मे भी बताया गया जिसके औषधीय गुणों को जानने के बाद उन्होने स्वयं इसका सेवन भी किया ।
कार्यक्रम मे डा. गरिमा (जे.आर. पंचकर्म) और डा. अरूण(जे.आर. शल्य) एवं चिकित्सालय के सभी कर्मचारियों ने सहयोग दिया।